Friday, May 29, 2015

अपने होटों पे सदा हम तो दुआ रखते हैं



...

अपने होटों पे सदा.......हम तो दुआ रखते हैं,
बे-वफाओं से भी हम तो....अब वफ़ा रखते हैं |

है हुनर चुपके से धड़कन में.....उतर जाने का,
चाहे दुश्मन जो बहुत...दिल में सजा रखते हैं |

ज़िंदगी दी है खुदा ने....तो संग दी है अदा भी ,
पर उठे उंगली न नियत पर ये अना रखते हैं |

हम तो प्यासे बहुत...नदिया तलाश करते हैं,
गुज़रे लम्हों की.....फिजाओं में हवा रखते हैं |

थी दुआ उनकी चले जाएँ उनकी ज़िंद से सदा,
हो असर इतना दुआओं में....ये दुआ रखते हैं |


_______________
हर्ष महाजन

No comments:

Post a Comment